लेखन मेरे लिए केवल शब्दों का खेल नहीं, बल्कि आत्मा की अभिव्यक्ति है। यह उपन्यास जीवन की उन्हीं धड़कनों का प्रतिबिंब है जिन्हें हम सभी ने किसी न किसी रूप में किसी न किसी उम्र में जिया है-संघर्ष, रिश्तों की मिठास, उम्मीदें, विश्वास और आत्मविश्वास ।
बचपन का मासूम लड़कपन, निर्मल, निस्वार्थ, निश्चल अपनापन सात जन्मों तक निभाने वाला प्यार परिवार के ना मंजूरी से धीमा पड़ा। कच्ची उम्र में भी बरकरार सच्चे प्यार की गरिमा और उम्र के सबसे महत्वपूर्ण पड़ाव में सबसे महत्वपूर्ण बदलाव से बदली जिंदगी की हसीन और दुखद पल की कहानी। दिल में भरी सच्ची चाहत की ताकत ने बदला समय दिखा असंभव भी असंभव होता।
मेरी इच्छा है कि पाठक जब इन पन्नों को पढ़ें, तो उन्हें केवल एक कहानी न लगे, बल्कि अपने ही जीवन की झलक भी महसूस हो। यही लेखन का सच्चा उद्देश्य है-दिल से निकले भाव दिल तक पहुँचना।